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ठग आशीष सिंह सिसोदिया का ठगी का अड्डा बना सेन्जी पावर

Ashish Singh Sisodia

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वैसे तो अपराधियों की कमर तोड़ रखी है। बाबा के बुलडोजर मॉडल की चर्चा पूरे देश में होती है। बावजूद इसके उत्तर प्रदेश में ठगी के मामलों में कोई कमी नहीं आई है। इन दिनों पश्चिम बंगाल, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ की तर्ज पर उत्तर प्रदेश में भी ठग कंपनियों ने अपना डेरा जमा रखा है, लेकिन एक कंपनी ऐसी भी है जो खुद को भारत सरकार द्वारा क्रिप्टो केरेंसी को लेकर अधिकृत बताती है। इस कंपनी का नाम है ‘सेन्जी पावर टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड’ ये कम्पनी 25 डॉलर लगाने पर 95 करोड़ कमाने का झांसा देकर लोगों की गाढ़ी कमाई डकार रही है।

इसके अलावा कंपनी द्वारा एसपी नाम का क्वाइन भी लॉन्च किया गया है। बड़ी बात ये है कि इस ठगी के कार्यक्रम को भारत सरकार से सर्टिफाइड बताया जा रहा है। लोगों को बेवकूफ बनाने के लिए वेबसाइट पर एम.सी.ऐ व आई .एस.ओ के सर्टिफिकेट लगाए गए हैं। गौरतलब है कि एम.सी.ए व आई.एम.ओ में रजिस्ट्रेशन कराने पर आप क्रिप्टो करेंसी या फोरेक्स ट्रेडिग या कोई भी पौंजी स्कीम नहीं चला सकते है। क्रिप्टो भारत में पूरी तरह से बैन है। इसके अलावा सेन्जी पावर द्वारा पिरामिड स्कीम का प्रयोग किया जा रहा है जो देश में प्रतिबंधित है। शिकायतकर्ताओ की मानें तो ये कंपनी पूरे प्रदेश में लगभग 2 करोड़ रूपये प्रतिदिन इकट्ठा करती है। इस ठगी के पैसे से कंपनी के मालिक आशीष सिंह सिसौदिया ने कई बेनामी संपत्तिया बना रखी हैं।

आखिर कौन है आशीष सिंह सिसोदिया न्याय 24 न्यूज की पड़ताल के बाद पता चला कि लखनऊ के इंद्रानगर में ऑफिस खोलकर एक निधि कंपनी चलता था। उसके बाद एक फार्मिंग प्रोजेक्ट में ठगी व जालसाजी के आरोप में जेल भी जा चुका है। जेल से आने के बाद आशीष सिंह सिसोदिया ने सेन्जी पॉवर की स्थापना की। मूलरूप से हैदरगढ़ का रहने वाले ठगी के आरोपी आशीष सिंह सिसोदिया ने डिग्री के बिना ही अपना नाम डॉ. आशीष सिंह सिसोदिया लिखने लगा। मौजूदा समय में भारत के कोने-कोने से लोगों को एजेंट बना कर करोड़ों की लूट की जा रही है।

क्रिप्टो करेंसी के लिए भारत में अब तक कोई कानून नहीं बना है तो भारत सरकार के लाइसेंस का कोई सवाल ही नहीं उठता। कंपनी के प्रतिनिधि द्वारा 16 तरीके के लाइसेंस का हवाला दिया जा रहा है, जबकि पिरामिड स्कीम व एम.एल.एम भी भारत में बैन है। एम.सी.ए व आई.एम.ओ रजिस्ट्रेशन का इस्तेमाल तब किया जाता है जब आप कोई प्रोजेक्ट पर सर्विस प्रोवाइडर हों। सेन्जी पॉवर व उनके द्वारा जारी की गई गैरकानूनी एस.पी क्वाइन पूरी तरह से गैरकानूनी है। इसमें पुराने लोगों से पैसा लेकर नए लोगों को दिया जाता है अर्थात मनी सर्कुलेशन किया जा रहा है। इसे पिरामिड स्कीम कहते हैं। इसको प्रचारित व प्रसारित करने वाले भी इस स्कैम का हिस्सा है।

  • फॉर्मिंग प्रोजेक्ट में ठगी के आरोप में जेल जाने के बाद आशीष सिंह सिसोदिया ने सेन्जी पावर को बनाया नया ठिकाना
  • MCA व ISO रजिस्ट्रेशन का क्रिप्टो लाइसेंस बता कर ठगे सैकड़ो करोड़
  • 25 डॉलर में 95 करोड़ देने का झांसा देशभर में ठगे जा रहे लोग
  • फ़र्ज़ी डिग्री फर्जी कंपनी लाखो युवाओं का इस्तेमाल कर ठगी से बनाई अथा संपत्तियां
  • RBI , SEBI व अन्य सरकारी एजेंसियों की आँख ने धूल झोंककर देश की सबसे बड़ी ठगी ?
  • सरकार व सरकारी विभागों को बदनाम कर रही सेन्जी पावर एस पी क्वाइन ?

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Author: nyaay24news

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