चंडीगढ़। 13 फरवरी को दिल्ली कूंच के लिए निकले किसान आंदोलन के चौथे दिन यानी शुक्रवार को भी दिल्ली बॉर्डर पर डटे रहे। हालांकि हरियाणा के बॉर्डर्स पर शांति बनी हुई है। बताया जा रहा है कि किसान अब रविवार तक दिल्ली की तरफ नहीं बढ़ेंगे। वहीं, हरियाणा के अंबाला में शंभू बॉर्डर पर हार्ट अटैक से एक किसान की मौत हुई है। उसकी मौत इलाज के दौरान अस्पताल में हुई।
जानकारी के मुताबिक 65 वर्षीय ज्ञान सिंह किसान आंदोलन में शामिल होने के लिए शंभू बॉर्डर पर पहुंचे थे। वे गुरदासपुर ज़िले के रहने वाले थे। आंदोलन में शामिल अन्य किसानों का कहना है कि गुरुवार देर शाम उनके सीने में तेज़ दर्द हुआ जिस पर उन्हें नज़दीकी अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई। फिलहाल, शुक्रवार को उनके पार्थिव शरीर को शंभू बॉर्डर लाया जाएगा, जहां किसान उन्हें श्रद्धांजलि देंगे।
वहीं आज सुबह पत्रकारों से बात करते हुए किसानों ने कहा कि केंद्रीय मंत्रियों के साथ चंडीगढ़ में बीती देर रात किसानों की बैठक हुई थी और किसान नेता आगे की रणनीति के बारे में बताएंगे, उसके बाद ही आगे कदम बढ़ाया जायेगा। हालांकि माना जा रहा है कि रविवार तक किसान बॉर्डर पर डटे रहेंगे और आगे नहीं बढ़ेंगे क्योंकि रविवार को चंडीगढ़ में सरकार और किसानों के बीच एक मीटिंग होनी है। बता दें कि किसान और केंद्रीय मंत्रियों के बीच गुरुवार देर शाम को चंडीगढ़ में बातचीत हुई। इस मीटिंग में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान भी मौजूद रहे। अब रविवार को दोबारा से दोनों पक्षों में बातचीत होगी।
मीटिंग के बाद किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने मीडिया को बताया कि ‘हमने कहा कि हम मुद्दों पर चर्चा ही ना करते रह जाएं, समाधान भी निकालना चाहिए, इस पर केंद्र सरकार ने कहा कि उन्हें समय चाहिए, MSP पर काफी लंबी चर्चा चली है, वहीं, हरियाणा के सात जिलों में इंटरनेट बैन 17 फरवरी तक के लिए बढ़ा दिए गया है। बता दें कि किसान आंदोलन के शुरुआती दो दिनों में दिल्ली बॉर्डर पर पुलिस और किसानों के बीच जोरदार भिड़ंत हुई थी जिसमें 100 से अधिक लोग घायल हुए हैं। इनमें किसान और पुलिस कर्मी दोनों शामिल हैं।
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