लखनऊ। उत्तर प्रदेश मैरिज सर्टिफिकेट को लेकर नियमों में बदलाव किया गया है। सरकार की तरफ से इस संबंध में आदेश जारी किए गए है, जिसके मुताबिक अब मैरिज सर्टिफिकेट लेने के लिए दहेज का भी पूरा ब्यौरा देना होगा। नए नियम के मुताबिक मैरिज सर्टिफिकेट के नियमों के तहत, दूल्हा-दुल्हन पक्ष के लोगों की ओर से शादी का कार्ड, आधार कार्ड, हाई स्कूल की मार्कशीट के साथ दो गवाहों के दस्तावेज भी लगेंगे। साथ ही दूल्हा-दुल्हन के पक्ष की तरफ से शादी में लिए और दिए गए दहेज के विवरण का शपथ पत्र भी सर्टिफिकेट के साथ लगाया जाएगा।
बता दें कि रजिस्ट्रेशन विभाग में मैरिज रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट बनवाने के लिए बड़ी संख्या में आवेदन आते हैं। अभी तक वर-वधु पक्ष की ओर से विवाह का कार्ड, आधार कार्ड, हाई स्कूल की मार्कशीट के साथ दो गवाहों के दस्तावेज अब तक लगाए जाते रहे हैं, लेकिन अब नए नियम में सरकार ने दहेज के शपथ पत्र को भी अनिवार्य कर दिया है। इसके लिए कार्यालय में नोटिस भी चस्पा किया गया है।
शपथ पत्र में रहेगा ब्यौरा
मैरिज सर्टिफिकेट के लिए दहेज शपथ पत्र में विवाह के दौरान दिए गए उपहारों का विवरण दर्ज होगा। इस संबंध में विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि सरकार को विवाह प्रमाण पत्र बनाने के लिए शपथ पत्र को अनिवार्य किया गया है। सभी को यह निर्देशित कर दिया गया है कि तमाम डॉक्यूमेंट के साथ दहेज का प्रमाण पत्र भी दिया जाए।
इसलिए जरूरी होता है मैरिज सर्टिफिकेट
मैरिज सर्टिफिकेट किसी भी व्यक्ति के शादीशुदा होने का सबसे बड़ा प्रमाण होता है। इस सर्टिफिकेट के जरिये शादी के बाद पति या पत्नी के साथ ज्वाइंट बैंक एकाउंट खुलवाया जा सकता है। पासपोर्ट के लिए अप्लाई करते समय भी मैरिज सर्टिफिकेट की आवश्यकता पड़ती है। बीमा के लिए भी जरूरी होता है। ट्रैवल वीजा से लेकर किसी देश में स्थायी निवास के लिए मैरिज सर्टिफिकेट की जरूरत पड़ती है। शादी के बाद सरनेम न बदलने वाली महिलाओं को मैरिज सर्टिफिकेट जरूरी होता है। अगर यह नहीं रहेगा तो सरकारी सुविधाओं का लाभ उन्हें नहीं मिल सकेगा।
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